भोपाल । मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शुक्रवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। 15 महीनों तक अपने पद पर बने रहने के बाद कमलनाथ ने इस्तीफा दिया है। सुप्रीम कोर्ट में दो दिनों तक चली सुनवाई के बाद कमलनाथ सरकार को शुक्रवार को शाम 5 बजे तक फ्लोर टेस्ट के आदेश दिए हैं। लेकिन उससे पहले ही कमलनाथ में इस्तीफा देते हुए ट्वीट किया, ”आज मध्यप्रदेश की उम्मीदों और विश्वास की हार हुई है, लोभी और प्रलोभी जीत गए हैं। मध्यप्रदेश के आत्मसम्मान को हराकर कोई नहीं जीत सकता। मैं पूरी इच्छाशक्ति से मध्यप्रदेश के विकास के लिए काम करता रहूंगा।”
इस्तीफे की घोषणा से पहले मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अपनी सरकार की उपलब्धियों को गिनवाते हुए भाजपा सरकार पर निशाना भी साधा। उन्होंने भारतीय जनता पार्टी पर आरोप लगाते हुए कहा कि, “हमने आम लोगों के लिए काम किया, लेकिन ये भारतीय जनता पार्टी को रास नहीं आया। हमारी सरकार पर किसी तरह का आरोप नहीं लगा। बीजेपी ने किसानों के साथ धोखा किया और हमें उनके लिए काम नहीं करने दिया।”
आपको बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को फैसला सुनाते हुए कहा था कि मध्यप्रदेश विधानसभा के सत्र को फिर से बुलाने का फैसला सुनाया था। इसके साथ ही उन्होंने कमलनाथ सरकार को शुक्रवार शाम 5 बजे तक बहुमत हासिल करने का आदेश दिया था। लेकिन इससे पहले ही कमलनाथ ने अपना इस्तीफा सौंप दिया।