जम्मू कश्मीर के अनंतनाग में बने मंदिर को किया गया अपवित्र, पवित्र प्रतीक चिन्ह में लगाई आग, कश्मीरी पंडितों की आराध्य हैं ‘देवी भार्गशिका’

जम्मू कश्मीर के अनंतनाग में बने मंदिर पर कुछ कट्टरपंथी लोगों ने हमला कर उसे नुकसान पहुंचाया है। कट्टरपंथियों ने मंदिर पर हमला कर वहां रखी मूर्तियों को नुकसान पहुंचाया और देवी भार्गशिका के पवित्र प्रतीक चिह्न को जला दिया है।

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जम्मू कश्मीर में लंबे समय के बाद एक बार फिर हिंदू समाज निशाने पर आ चुका है। भारतीय जनता पार्टी के कई नेताओं की हत्याओं के बाद अब एक ऐसी खबर आ रही है जो भारत में लोकतंत्र के लिए बिल्कुल भी ठीक नहीं है। आपको बता दें कि जम्मू कश्मीर (Jammu Kashmir) के अनंतनाग इलाके में एक मंदिर को नुकसान पहुंचाने की घटना सामने आई है। कट्टरपंथियों ने मंदिर पर हमला कर वहां रखी मूर्तियों को नुकसान पहुंचाया और देवी भार्गशिका (Devi Bhargshika) के पवित्र प्रतीक चिह्न को जला दिया है। तोड़फोड़ की घटना पर पूर्व सीएम महबूबा मुफ्ती (Mehbooba Mufti) ने अफसोस व्यक्त किया है। महबूबा ने ट्वीट कर कहा, ‘मट्टन के माता मंदिर में तोड़फोड़ की घटना से दुखी और परेशान हूं… यह समय है कि हम अपने कश्मीरी पंडित भाईयों को फिर से सुरक्षा का अहसास दिलाएं। अनंतनाग के एसएसपी और डीसी से आग्रह है कि इस मामले में अविलंब कार्रवाई करें।’

मंदिर में तोड़फोड़ कर लगाई गई आग

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अनंतनाग जिले के मट्टन में श्री माता भार्गशिका मंदिर (Shri Mata Bhargshika Temple) बना हुआ है। पहाड़ियों पर बना यह मंदिर कुछ दिनों पहले सजा हुआ दिखता था। हालांकि उसकी यह रौनक कट्टरपंथियों को पसंद नहीं आई और  मंदिर में तोड़फोड़ कर उसे नुकसान पहुंचा दिया गया। नेशनल कांफ्रेंस के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट किया, ‘अस्वीकार्य… मैं इस तोड़फोड़ की निंदा करता हूं और प्रशासन, खासकर जम्मू कश्मीर पुलिस से अपराधियों की पहचान करने की अपील करता हूं ताकि उन पर मुकदमा चल सके।’

अनंतनाग के उपायुक्त पीयूष सिंगला ने बताया कि अपराधियों को दंडित किया जाएगा और किसी को भी सामाजिक एवं सांप्रदायिक सदभाव में खलल नहीं डालने दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि इस मामले में केस दर्ज कर लिया गया है और दोषियों की तलाश की जा रही है।

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