अभी महाराष्ट्र के पालघर का में साधुओं की हत्या का मामला शांत नहीं हुआ था कि उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में स्थित अनूपशहर थाना क्षेत्र में भी दो साधुओं की हत्या का मामला सामने आया है। यहाँ पर साधुओं की हत्या तब की गई जब वो मंदिर के भीतर सो रहे थे। बुलंदशहर के अनूपशहर थाना क्षेत्र में स्थित पड़ौना गांव में एक शिव मंदिर है। जहां पर जगदीश नाम के एक बाबा के साथ ही एक और पुजारी मंदिर में रहा करते थे।
जिस गांव में ये मंदिर स्थित हैं उसी गांव के मुरारी उर्फ राजू नाम के आदमी पर बाबा की हत्या का आरोप लगाया गया है। बताया जा रहा है कि राजू नशे का आदी था और हमेशा भांग के नशे में रहता था। उसने मंदिर से कुछ सामान गायब कर दिया था जिस वज़ह से बाबा ने उसे फटकारा था। इसी बात से खुन्नस खा कर राजू ने धारदार तलवार से दोनों बाबा को काटकर मौत के घाट उतार दिया।
मौके पर पहुँची पुलिस ने तुरन्त ही हत्यारे मुरारी उर्फ राजू को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तारी के वक्त राजू नशे में इतना धुत था की वो बोलने की हालत में भी नही था। साधुओं की नृशंस हत्या के बाद इस पर राजनीतिक प्रतिक्रियाएं आनी भी शुरू हो चुकी है। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव समेत कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने इस घटना की कठोर निंदा की है।
अप्रैल के पहले 15 दिनों में ही उप्र में सौ लोगों की हत्या हो गई। तीन दिन पहले एटा में पचौरी परिवार के 5 लोगों के शव संदिग्ध परिस्थितियों में पाए गए। कोई नहीं जानता उनके साथ क्या हुआ।
आज बुलंदशहर में एक मंदिर में सो रहे दो साधुओं को बेरहमी से मौत के घाट उतार दिया गया।..
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— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) April 28, 2020
..ऐसे जघन्य अपराधों की गहराई से जाँच होनी चाहिए और इस समय किसी को भी इस मामले का राजनीतिकरण नहीं करना चाहिए।
निष्पक्ष जाँच करके पूरा सच प्रदेश के समक्ष लाना चाहिए। यह सरकार की ज़िम्मेदारी है।
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— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) April 28, 2020
उप्र के बुलंदशहर में मंदिर परिसर में दो साधुओं की नृशंस हत्या अति निंदनीय व दुखद है.
इस प्रकार की हत्याओं का राजनीतिकरण न करके, इनके पीछे की हिंसक मनोवृत्ति के मूल कारण या आपराधिक कारण की गहरी तलाश करने की आवश्यकता होती है. इसी आधार पर समय रहते न्यायोचित कार्रवाई करनी चाहिए.
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) April 28, 2020
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