जय श्री राम का मास्क बांटने वाले नेता को पुलिस ने किया गिरफ्तार, जनता ने सीएम के खिलाफ की नारेबाजी

बीजेपी के नेता ने अपनी श्रद्धा भक्ति दिखाते हुए रोड पर जय श्री राम का मास्क लोगों को देना शुरू किया था। ताकि वह हिंदुत्व का प्रचार कर सके और लोगों को मास्क पहने के लिए जागरूक भी कर सके, लेकिन ऐसा करना उसके लिए ही भारी पड़ गया और बंगाल की पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया।

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पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी और टीएमसी में जमकर टक्कर हो रही है। दोनों पार्टियां एक-दूसरे पर हमला करने का एक भी मौका नहीं छोड़ रहे। इसी बीच बंगाल से ऐसी खबर आई है, जो काफी निराशाजनक है। दरअसल बीजेपी के नेता ने अपनी श्रद्धा भक्ति दिखाते हुए रोड पर जय श्री राम का मास्क लोगों को देना शुरू किया था। ताकि वह हिंदुत्व का प्रचार कर सके और लोगों को मास्क पहने के लिए जागरूक भी कर सके, लेकिन ऐसा करना उसके लिए ही भारी पड़ गया और बंगाल की पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। हालांकि नेता के साथ हो रहे इस दुर्व्यवहार का वहां मौजूद लोगों ने जमकर विरोध किया और पुलिस के खिलाफ नारेबाजी की साथ में जोर-जोर से जय श्रीराम के नारे भी लगाए।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार बीजेपी नेता के साथ हो रहे इस व्यवहार पर बीजेपी बंगाल के आधारित ट्विटर अकाउंट से भी ट्वीट किया गया है जिसमें लिखा – ‘पूर्ण तानाशाही! बीजेपी कार्यकर्ता को सेरामपुर, हुगली पुलिस ने गिरफ्तार किया. उनका ‘गंभीर अपराध’ यह था कि उन्होंने ‘जय श्रीराम’ मास्क पहनने वितरित करने का साहस किया. यह पिशी बंगाल है, जहां डेमोक्रेसी में एक हजार लोग मारे गए हैं।’ वहीं दूसरी ओर बंगाल प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय ने भी ट्वीट करते हुए इस घटना की निंदा करते हुए लिखा – ममताजी की दमनकारी नीति के खिलाफ शेरदिल कार्यकर्ताओं का आंदोलन…राम नाम के मास्क बांटना भी अपराध है।’

हम आपको बता दे ऐसा पहली बार नहीं हो रहा है, जब बंगाल में जय श्रीराम के नारे लगाने पर किसी व्यक्ति के साथ ऐसा दुर्व्यवहार किया जा रहा है। इससे पहले भी नेता जी सुभाष चंद्र बोस के जयंती के दिन जब प्रधानमंत्री मोदी कोलकाता पहुंचे थे। तब सीएम ममता भी उनके साथ मौजूद थी, लेकिन जब मुख्यमंत्री स्टेज पर पहुंच कर संबोधित करने वाली थी। उसी समय कुछ लोगों ने जय श्रीराम के नारे लगाए थे। इसके बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भाषण देने से मना कर दिया था और जय श्रीराम के नारे को उन्होंने अपना अपमान बताया था। हालांकि तब सीएम ममता इस बात के लिए काफी ट्रोल हुई थी, क्योंकि वह मस्जिदों में जाते हुए दिखाई देती है, लेकिन उन्हें जय श्रीराम के नारे से दिक्कत क्यों है? और एक बार फिर बीजेपी नेता के साथ हुए इस घटना ने यह सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या बंगाल में जय श्री राम बोलना अपराध है?

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