लगातार हमारे देश की क्षेत्रीय पार्टियां अब मुख्यधारा में आने का प्रयास कर रही है। पश्चिम बंगाल में जो सियासी घमासान नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती पर मचा उसे लेकर अब शिवसेना लगातार भाजपा और तृणमूल कांग्रेस पर बरस रही है। हम आपको बता दे नेताजी सुभाष चंद्र बोस के कार्यक्रम में जब ममता बनर्जी भाषण देने आयीं तो लोगों ने जय श्रीराम के नारे लगाए और इस नारे को सुनकर ममता बनर्जी भड़क गई। अब इस मामले पर शिवसेना ने ममता को नसीहत देते हुए कहा है कि बीजेपी ने ममता का बीक पॉइंट पकड़ लिया है प्रधानमंत्री की मौजूदगी में ममता को जय श्रीराम के नारे देकर उकसाया गया, अगर ममता बिना चिड़े जय श्री राम कह देती तो यह दांव उल्टा पड़ सकता था।
बंगाल की राजनीति में भारतीय जनता पार्टी पर हमला बोलते हुए शिवसेना ने अपने पत्र में लिखा है कि स्वतंत्रता की लड़ाई में बंगाल,पंजाब और महाराष्ट्र का नेतृत्व सबसे आगे था। उसी तरह आज भी तीनों राज्य स्वाभिमान की लड़ाई में केंद्र सरकार के संघर्ष से आगे हैं। पंजाब के किसान दिल्ली की सीमा पर डटे हुए हैं, पश्चिम बंगाल में घमासान शुरू है तो वहीं महाराष्ट्र पर हर रोज हमले किए जा रहे हैं,जो महाराष्ट्र में 2016 के चुनावों के समय हुआ था, वही आज बंगाल में शुरू हो चुका है। इन्हीं के खिलाफ लड़ना है उन्हीं के लोगों को तोड़कर खुद की फौज बनाई जा रही है,जिस तरह महाराष्ट्र में कांग्रेस एनसीपी के लोगों को तोड़ा वही पैंतरा आज पश्चिम बंगाल में तृणमूल के लोगों के साथ इस्तेमाल किया जा रहा है।”