मध्य प्रदेश की 28 सीटों पर उपचुनाव होना है।दोनों पार्टियां भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस पार्टी अपनी पूरी ताकत झोंक चुकी है। राजमाता विजयाराजे सिंधिया के स्मारक सिक्के का विमोचन करके प्रधानमंत्री मोदी ने ग्वालियर के आसपास की सभी सीटों को अपने पक्ष में कर लिया है, तो वही कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आई ज्योतिरादित्य सिंधिया भी भाजपा को मजबूत करने में अपनी पूरी ताकत लगा रहे हैं। भाजपा ने बुधवार को अपनी पार्टी के स्टार प्रचारकों की लिस्ट जारी की। जिसमें सिंधिया तस्वीर नंबर पर प्रदेश अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा पहले और शिवराज सिंह दूसरे नंबर पर रखे गए। इस लिस्ट में 5 दलितों तथा 2 आदिवासियों को भी रखा गया है। कांग्रेस ने ज्योतिरादित्य सिंधिया पर तंज कसते हुए कहा कि जब वे कांग्रेस में थे तब चुनाव अभियान समिति के प्रमुख थे इस पर भाजपा ने जवाब देते हुए कहा है कि हमारी पार्टी में यह सब सूची पद और वरिष्ठता के हिसाब से तय होता है।
1 दिन पहले भाजपा के दफ्तर से दो वीडियो रद्दा रवाना हुए थे, जिसमें सिंधिया का पोस्टर नहीं था लेकिन राजमाता सिंधिया का पोस्टर था। पार्टी ने तर्क दिया है कि यह सब राजनीति के तहत है यह बताया जा रहा है कि 2 दिन में दिल्ली रहने के बाद 18 से 20 फिर सक्रिय हो जाएंगे और वे 25 वर्चुअल और 50 सभाएं करेंगे, शिवराज सिंह चौहान अभी 28 सीटों पर जा चुके हैं और सिंधिया 24 सीटों पर पहुंच चुके हैं। ग्वालियर चंबल में कांग्रेस ने सिंधिया को गद्दार के रूप में पेश किया है। संघ भाजपा की पुराने नेता शिवराज के नेतृत्व से सहमत हैं लेकिन सिंधिया पर असहमत हैं। भाजपा भी मान रही है कि जनता में शिवराज की स्वीकार्यता है लिहाजा वे अब कोई रिस्क नहीं लेना चाहते। वहीं दूसरी ओर कांग्रेस केवल कमलनाथ के नेतृत्व में चुनाव लड़ रही है। इस बार कमलनाथ ने नए नेताओं को जिम्मेदारी दी है। कमलनाथ प्रत्याशियों के समर्थन में जनसभाएं करेंगे दिग्विजय समूह की बैठक के लिए घर घर जाएंगे। खास सीटों के प्रबंध के लिए कमलनाथ के कुछ प्रमुख लोग लगाए जाएंगे।