ओलंपिक मेडल जीतने का ऐसा जुनून, तीरंदाजी के साथ करना पड़ रहा है कपड़े सिलने का काम

दिव्यांग तीरंदाज पूजा कुमारी ओलंपिक में देश के लिए मेडल लाने की तैयारी कर रही हैं। तीरंदाजी के अभ्यास के साथ वह अपने भाई के साथ कपडे सिलने का काम भी कर रही हैं।

0
701

अपने देश के लिए ओलंपिक मेडल जीतना हर खिलाड़ी का सपना होता है। अपने जुनून और हुनर से देश का नाम विश्व पटल पर रखने के लिए आज भी कई ऐसे खिलाड़ी हैं जो भले ही लाइमलाइट में रह कर मेहनत नहीं कर रहे होते लेकिन उनकी कहानी दूसरों के लिए प्रेरणा साबित होती है। ऐसा ही एक नाम है पैरा तीरंदाज पूजा कुमारी का। देश के लिए मेडल लाने का जुनून खिलाड़ियों में किस कदर भरा होता है ये पूजा कुमारी आज साबित कर रही हैं।

32 वर्षीय पूजा तीरंदाजी में कड़ी मेहनत के साथ आर्थिक तंगी से अपने परिवार को बचाने के लिए अपने बड़े भाई का व्यवसाय में हाथ भी बटा रही हैं। घर के पास मैदान में भरी धूप में पसीना बहाने के साथ तीरंदाजी का अभ्यास करने के बाद पूजा कपड़ों की सिलाई में भाई का हाथ बटा रही हैं। वह सुबह 8 बजे से शाम 4 बजे तक यमुना स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में तीरंदाजी का अभ्यास करती हैं। उसके बाद वह घर जाकर भाई का काम में साथ देती हैं।

पूजा का सपना देश के लिए पैरा तीरंदाजी में मेडल जीतना है। जिसके लिए वह लगातार मेहनत कर रही हैं। पूजा ने 2019 में पैरा राष्ट्रीय तीरंदाजी प्रतियोगिता में स्वर्ण पदक अपने नाम किया था। इसके अलावा पूजा ने 2019 में 2 स्वर्ण पदक और 2017 में 3 रजत पदक अपने नाम किए थे।

Image Source : Jagran.com

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here