प्रधानमंत्री मोदी ने दी भारतीय जनता पार्टी के सांसदों को चेतावनी, कहा : बदल जाइये, वरना बदल दिए जाएंगे

भारतीय जनता पार्टी (BJP) की पार्लियामेंटरी पार्टी मीटिंग में PM मोदी ने अपने सभी सांसदों को चेतावनी दी है। सदन से गायब रहने वाले सांसदों को उन्होंने कहा कि आप खुद को बदलिए नहीं तो हम बदलाव करेंगे।

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चित्र साभार: ट्विटर @BJP4India

भारतीय जनता पार्टी की संसदीय पार्टी मीटिंग में आज भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी शामिल हुए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मीटिंग में अपने सांसदों को नसीहत भी दी। कड़े शब्दों में PM ने कहा कि अनुशासन में रहें, समय से आएं और अपनी बारी होने पर ही बोलें। साथ ही यह भी कहा कि बच्चों की तरह बर्ताव न करें। मोदी ने कहा कि संसद की कार्यवाही और बैठकों में नियमित रहें और लोगों के हित में काम करें। उन्होंने कहा कि यह मेरे लिए अच्छा नहीं है कि मैं आपकी अनुशासनहीनता को लेकर परेशान रहूं और आपको बच्चों की तरह ट्रीट करूं। बच्चों को भी एक ही बात कई बार कही जाए तो उन्हें पसंद नहीं आती है।

प्रधानमंत्री मोदी ने अपने दूसरे कार्यकाल के सबसे बड़े मंत्रिमंडल विस्तार के अगले दिन अपने मंत्रियों से बात की थी। इस दौरान मोदी ने उन्हें कुछ सबक दिए और बताया कि उन्हें क्या करना है और क्या नहीं करना है। PM ने मंत्रियों को मीडिया में बेवजह बयानबाजी न करने की सलाह भी दी थी। उन्होंने मंत्रियों से कहा कि आपका काम चमकना चाहिए, न की आपका चेहरा। अपनी सारी ऊर्जा विभागीय काम में लगाएं। उन्होंने मंत्रियों से पूरी तैयारी के साथ संसद आने को कहा था। वहीं, सभी मंत्रियों को सुबह 9:30 बजे दफ्तर आने की सलाह भी दी थी।

बिना नाम लिए साधा सपा सरकार पर निशाना

पीएम नरेंद्र मोदी ने आज़ गोरखपुर में एम्स अस्पताल और खाद कारखाने समेत कई परियोजनाओं का उद्घाटन कर पूर्वांचल को एक बार फिर से सौगात भी दी है। पीएम मोदी ने कहा कि यूपी का गन्ना किसान नहीं भूल सकता है कि इससे पहले की सरकारों ने कैसे भुगतान के लिए रुला दिया था। पहले की सरकारों में हमने वह दिन भी देखे हैं, जब अनाज होते हुए भी गरीबों को नहीं मिलता था। अब हमारी सरकार ने गरीबों को राशन देने के लिए गोदाम खोल दिए हैं। उन्होंने कहा, ‘आज पहले की सरकारों की बेरुखी याद आती है। सब जानते थे कि गोरखपुर का खाद कारखाना कितना जरूरी था, लेकिन पहले की सरकारों ने इसे शुरू कराने में कोई रुचि नहीं दिखाई। एम्स की जरूरत यहां हमेशा से थी, लेकिन 2017 से पहले जो सरकार चला रहे थे, उन्होंने इसके लिए जमीन देने के लिए भी तमाम बहाने बनाए। फिर बड़ी लंबी कवायद के बाद जमीन मिली है।’

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