पाकिस्तान की एक विशेष अदालत ने यहाँ के पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ (Parvez Mushaaraf) को फांसी की सजा सुनाई है। मुशर्रफ को फांसी की सजा राजद्रोह मामले में सुनाई गई है। परवेज़ मुशर्रफ पर 3 नवंबर 2007 को पाकिस्तान में अतिरिक्त संवैधानिक आपातकाल लागू करने का आरोप लगा था, जिसके लिए उन्हें फाँसी की सज़ा सुनाई गई है।
परवेज़ मुशर्ऱफ (Parvez Mushaaraf) पर साल 2013 के दिसंबर में देशद्रोह का मामला दर्ज किया गया था। इसके बाद 31 मार्च 2014 को मुशर्रफ को आरोपी करार दिया गया था।
अपीलीय मंचों पर याचिकाओं के कारण पूर्व राष्ट्रपति के मुदकमे में देरी हुई और वह शीर्ष अदालतों और गृह मंत्रालय की मंजूरी के बाद मार्च 2016 में पाकिस्तान से बाहर चले गए। अभी मुशर्रफ़ दुबई में हैं। वो साल 2016 में इलाज़ कराने के लिए वहाँ गए थे लेकिन अभी तक नहीं लौटे हैं।
आपको बता दें कि परवेज़ मुशर्रफ ने 1971 में भारत-पाकिस्तान की वॉर में पाकिस्तान की ओर से भारत के खिलाफ लड़ाई भी लड़ी थी। इसके बाद साल 1998 में मुशर्रफ पाकिस्तान आर्मी के चीफ बने थे। लेकिन 3 जून, 1999 को मुशर्रफ को सेना प्रमुख के पद से हटाए जाने की मांग की गई क्योंकि पाकिस्तान को कारगिल युद्ध के लिए अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर शर्मशार होना पड़ा था। इसके बाद साल 1999 में वो पाकिस्तान के राष्ट्रपति बन गए। साल 2007 में उन पर देशद्रोह का मुक़दमा दर्ज़ कराया गया और साल 2014 में उन पर आरोप तय हुआ।