दिल्ली के तालकटोरा इनडोर स्टेडियम में आयोजित परीक्षा पे चर्चा (ParikshaPeCharcha2020) कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने छात्रों को विफलता से निपटने के लिए संवाद के जरिए गुरुमंत्र दिया। इस दौरान उन्होनें कई उदाहरण देकर छात्रों का हौसला बढ़ाया। इन सभी उदाहरणों में चन्द्रयान का विषय सबसे खास रहा। पीएम मोदी ने छात्रों को चंद्रयान की विफलता से सीखने का सुझाव दिया। दरअसल एक छात्रा ने पीएम मोदी से सवाल किया कि बिना तनाव और घबराहट के परीक्षा का सामना कैसे करें? कई बार मूड ऑफ हो जाता है। इसी सवाल का जवाब देते हुए पीएम मोदी ने चन्द्रयान का जिक्र किया और एक बड़ा राज भी खोला।
स्मार्ट फोन जितना आपका समय चोरी करता है, उसमें से 10% कम करके आप अपने अभिभावकों के साथ बिताएं।
तकनीक हमें खींचकर ले जाए, उससे हमें बचकर रहना चाहिए।
हमारे अंदर ये भावना होनी चाहिए कि मैं तकनीक को अपनी मर्जी से उपयोग करूंगा: पीएम मोदी #ParikshaPeCharcha2020 pic.twitter.com/8YAYmrzRnJ
— BJP (@BJP4India) January 20, 2020
उन्होंने कहा कि “अपनी अपेक्षा को अपने साथ इतना न जोड़ दें, कि उसके पूरा न होने से हमारा मूड ऑफ हो जाए। मोटिवेशन और डिमोटिवेशन, ये ऐसी चीजें हैं जिससे हर किसी को गुजरना पड़ता है। बार-बार गुजरना पड़ता है। जैसे- चंद्रयान। इसके आगे पीएम मोदी ने एक सीक्रेट शेयर करते हुए कहा-
‘आप सब रात को जाग रहे थे। कुछ लोगों ने मुझे कहा था कि आपको वहां नहीं जाना चाहिए, क्या होगा अगर ये मिशन फेल हो गया। मैंने कहा- इसीलिए मुझे जाना चाहिए। मिशन में गड़बड़ी के बाद मैंने वैज्ञानिकों को समझाया और अपने होटल चला गया। लेकिन सोने का मन नहीं हो रहा था। तब मैंने पीएमओ की पूरी टीम को बुलाया। उनसे कहा कि सुबह हमें जल्दी निकलना है, लेकिन हम देर से जाएंगे। सुबह एक बार फिर वैज्ञानिकों से मिलेंगे। हम उनसे मिले, मैंने अपने भाव व्यक्त किए। उनके परिश्रम की सराहना की। इतनी बात से वहां के साथ-साथ पूरे देश का माहौल बदल गया। कहने का मतलब ये है कि हम विफलताओं में भी सफलता की शिक्षा पा सकते हैं। हर प्रयास में उत्साह भर सकते हैं। किसी चीज में आप विफल हुए, इसका मतलब ये है कि अब आप सफलता की ओर चल पड़े हैं।'(ParikshaPeCharcha2020)
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