भारत और पाकिस्तान की सेनाओं के बीच लंबे समय से संघर्ष चल रहा है। लगातार पाकिस्तान के द्वारा बहुत सारी ऐसी घटना की जाती है जिससे भारतीय सैनिकों को नुकसान पहुंचता है और बदले में भारतीय सेना के द्वारा पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब दिया जाता है।लेकिन अब ऐसा माना जा रहा है कि दोनों देश आपसी सहमति देश मामले को हल करने की कोशिश में है। जिसका संदेश दोनों देशों के द्वारा गुरुवार को दिया जा चुका है। संकेत यह भी मिल रहे हैं कि पाकिस्तान के साथ संबंधों को सही करने का सारा भार एनएसए अजीत डोभाल के कंधों पर आ चुका है। डोभाल पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान के सलाहकार मोईद एम.युसूफ के साथ बैक डोर डिप्लोमेसी के जरिए संपर्क में है। कुछ समय पहले ही भारत और चीन की सेनाओं के बीच आपसी सहमति बनी थी। जिसके बाद दोनों सेनाओं को पैगोंग झील के किनारे से हटा लिया गया है।
पाकिस्तान के साथ संघर्ष विराम संबंधी संयुक्त बयान आने के बाद गुरुवार शाम साप्ताहिक प्रेस वार्ता में भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव का पाकिस्तान को लेकर बदला अंदाज इस बात की ओर इशारा कर रहा है कि पाकिस्तान के साथ द्विपक्षीय रिश्तों को लेकर सरकार के भीतर कुछ गंभीर विमर्श चल रहा है। अनुराग श्रीवास्तव से जब यह पूछा गया कि क्या संघर्ष विराम के बाद राजनीतिक वार्ता भी शुरू की जाएगी तो उनका जबाव था, ‘भारत पाकिस्तान के साथ एक सामान्य पड़ोसी देश जैसा रिश्ता चाहता है। जहां तक पाकिस्तान के साथ दूसरे मुद्दों का सवाल है तो हमारी स्थिति में कोई बदलाव नहीं हुआ है।’ यहां पर यह बात साफ होती है कि आतंकवाद के मुद्दे पर लगातार पाकिस्तान को घेरने वाले अनुराग श्रीवास्तव ने इस बार पाकिस्तान पर कोई भी बड़ी टिप्पणी नहीं की है।