उत्तर प्रदेश में स्टार्टअप को लेकर नोएडा ग्रेटर, नोएडा, लखनऊ मेरठ जैसे शहरों में विशेष योजना की शुरुआत की जाएगी। इस योजना के माध्यम से प्रदेश के विभिन्न शहरों से अच्छी शिक्षा प्राप्त कर निकलने वाले युवाओं को नौकरी देने का काम किया जाएगा। इस पूरे मामले को लेकर जेवर विधायक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिले थे। लखनऊ में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से जेवर विधायक धीरेंद्र सिंह ने मुलाकात की थी। उनके साथ स्टार्टअप पर सुझाव देने के लिए युवा उद्यमियों की एक टीम भी मुख्यमंत्री के पास गई थी। विधायक ने सीएम को बताया कि देश में जुलाई तक 70,000 करोड़ रुपये स्टार्टअप में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश हुआ है। पूरे विश्व में आई कोरोना महामारी के बावजूद भी उत्तर प्रदेश में लोगों का निवेश अभी तक जारी है। देश में बंगलुरु, हैदराबाद, पुणे, मुंबई और गुरुग्राम स्टार्टअप के बड़े हब हैं। कुल प्रत्यक्ष विदेशी निवेश का 80 फीसदी से ज्यादा हिस्सा इन्हीं पांच शहरों में जाता है। प्रदेश में आईआईटी कानपुर और आईआईएम लखनऊ जैसे शिक्षण संस्थान हैं। टॉप मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेज भी हैं।
केवल नोएडा और ग्रेटर नोएडा से 60 हजार इंजीनियर पढ़ कर निकलते हैं। यह सभी विद्यार्थी यहां से निकलने के बाद देश के विभिन्न राज्यों में स्थित बड़ी-बड़ी कंपनियों में काम करते हैं। कहा जा रहा है कि अभी प्रदेश में ही स्टार्ट की कोई बड़ी व्यवस्था कर दी जाए तो इन विद्यार्थियों को यूपी में ही नौकरियां दे जा सकेंगे और प्रदेश में बड़ा निवेश होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस दिशा में राज्य सरकार नवोन्मेषकों और युवा उद्यमियों को भरपूर समर्थन करेगी। विधायक ने बताया कि यह प्रतिनिधिमंडल विस्तृत योजना तैयार करके बहुत जल्द फिर मुख्यमंत्री से मुलाकात करेगा।