उत्तर प्रदेश देश की जनसंख्या के हिसाब से सबसे बड़ा राज्य है या यूं कहें यहां की मानव पुंजी देश की सबसे समृद्ध मानव पूंजियों में से एक है। उत्तर प्रदेश को अर्थ व्यवस्था की दृष्टि से देश की तीसरी सबसे बड़ी अर्थवयवस्था कहा जाता है और इसका मुख्य कारण है राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जिन्होंने राज्य को तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने में दिन रात लगा दिए हैं। हालिया इस ऑफ डूइंग सर्वे के अनुसार निवेश के मामले में देश का दूसरा सबसे पसंदीदा राज्य बन गया है और ये सब इस बात की गवाही देते हैं कि सिर्फ लोगों ने ही नहीं बल्कि उद्योग जगत ने भी राज्य के मुख्यमंत्री महंत योगी आदित्यनाथ की कुशल राजनीति और नेतृत्व पर भरोसा जताया है।
इस मुकाम तक पहुंचने के लिए राज्य की सरकार ने हर क्षेत्र में कार्य किया है और योगी जी ने अपने नेतृत्व में एक मुहिम के जरिए कुशल युवाओं को उनकी कुशलता के अनुसार रोजगार मुहैया कराने की या फिर उसको स्वरोजगार के लिए उचित संसाधन मुहैया कराने का प्रयास किया है और इस प्रयास को देश के नामी गिरामी निवेशकों ने भी सराहा है और इस प्रयास का ही नतीजा है कि निवेशकों की नजर में यूपी देश का दूसरा सबसे पसंदीदा स्थान बन गया है।
युवाओं पर जताया भरोसा
योगी आदित्यनाथ ने राज्य की सत्ता संभालते ही राज्य के विकास के रोड मैप को बनाने में लग गए और जल्द ही उन्होंने इस मैप को तैयार कर इसको लागू भी किया। अपनी महत्वाकांक्षी परियोजनाओं में उन्होंने युवा, कौशल और प्रतिभा से परिपूर्ण युवाओं पर भरोसा जताया और काफी हद तक सही साबित भी हुए। निजी क्षेत्र हो या फिर सरकारी क्षेत्र यूपी में हर जगह आज युवाओं का काफी बोलबाला है और इसका सीधा असर राज्य के विकास पर दिख भी रहा है।
अगर आकड़े के लिहाज़ से बात करे तो यूपी देश का पहला ऐसा राज्य है जहां पर अब तक 4 लाख युवाओं को राज्य सरकार की तरफ से सरकारी नौकरी दी गई है और ये बात हम नहीं बल्कि सरकारी आंकड़े कहते हैं।
महिलाओं का रखा गया विशेष ध्यान
योगी सरकार ने यूपी विकास के रोड मैप में महिलाओं को भी तरजीह दी और उन्हें स्वालम्बी बनाने के लिए कई कदम उठाए गए हैं जिससे राज्य में ना सिर्फ महिलाओं को रोजगार मिला बल्कि राज्य के राजस्व में भी वृद्धि हुई। योगी सरकार ने अपनी कुशल नेतृत्व क्षमता को ध्यान में रखा और गांव को बैंकिंग क्षेत्र से जोड़ने के लिए करीब 60 हज़ार बैंकिंग करेस्पांडेंट की नियुक्तियां की और इन नियुक्तियों में सिर्फ और सिर्फ महिलाओं को ही जगह मिली। वहीं जल्द ही 1 लाख युवाओं को राज्य में बन रहे सामुदायिक भवन, शौचालयों में रोजगार मिलने वाला है और इसकी प्रक्रिया में सरकार कड़ी मेहनत कर रही है। इस योजना के तहत भी 33 प्रतिशत महिलाओं को रोजगार दिया जाएगा।
Corona महामारी में सरकार ने जिस तरह से राज्य में प्रवासी मजदूरों को उनके घर तक पहुंचाया और उनकी जरूरतों को ध्यान में रखते हुए एक डेटा बेस भी तैयार करवाया ताकि उन्हें लॉक डाउन के दौरान कोई परेशानी नहीं हो और उन्हें अब रोजगार के लिए राज्य से बाहर ना जाना पड़े इसके लिए सरकार ने कौशल प्रशिक्षण तथा अप्रेन्टिसशिप के माध्यम से रोजगार व स्वरोजगार के विशेष अवसर सृजित करने हेतु 05 दिसम्बर 2020 से ‘मिशन रोजगार’ की शुरुआत की। इसके तहत प्रदेश सरकार के विभिन्न विभागों, संगठनों, स्वयंसेवी संस्थाओं, निगमों, परिषदों, बोर्डों तथा प्रदेश सरकार के विभिन्न स्थानीय निकायों और प्राधिकरणों के माध्यम से युवाओं के लिए समन्वित रूप से रोजगार, स्वरोजगार के सृजन के साथ-साथ कौशल प्रशिक्षण तथा अप्रेन्टिसशिप की व्यवस्था की जाएगी ताकि इस वित्त वर्ष के अंत तक 50 लाख युवाओं को रोजगार तथा स्वरोजगार के लिए सक्षम बनाया जा सके।
इन सबको जेहन में रखते हुए अगर बात करें तो योगी जी के इकोनोमक मॉडल के साथ-साथ नेतृत्व क्षमता ने भी लोगों को प्रभावित किया है तो वहीं यूपी सरकार ने सौहार्द पूर्ण और आशा वादी वातारण से देश के निवेशकों का भी दिल जीत लिया है। मोदी जी के पदचिह्नों पर चल सबका साथ सबका विकास करने की बीड़ा उठाने वाली योगी सरकार ने हर कदम पर राज्य की जनता का साथ दिया है तो वहीं राज्य में हो रहे भ्रटाचार पर अंकुश लगाने में काफी हद तक सफल भी हुए हैं। कड़े फैसले लेने के लिए मशहूर योगी जी के इकोनॉमिक मॉडल को देखकर देश के अनेक राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने भी योगी जी के पद्चिन्हों पर चलना प्रारम्भ कर दिया है और इसमें खास कर बीजेपी साशित राज्य के मुख्यमंत्री शामिल हैं।