कांग्रेस नेता राहुल गांधी लगातार कई महीनों से प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधे हुए हैं। एक नहीं सैकड़ों बार राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी की नीतियों की खिलाफत की है इसके अलावा भाजपा सरकार द्वारा चलाई गई योजनाओं का विरोध किया है। अभी फिलहाल में किसान अधिनियम के मुद्दे पर लगातार कांग्रेस और विपक्षी दल मिलकर प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साध रहे हैं और भाजपा द्वारा बनाए गए तीनों अधिनियम का विरोध कर रहे हैं। इसी विरोध के कारण कांग्रेस समेत सभी विपक्षी दलों ने राज्यसभा की कार्रवाई का बायकाट कर दिया और आठ राज्यसभा सांसदों को वेंकैया नायडू ने उनकी अनुशासनहीनता के कारण राज्यसभा से निलंबित कर दिया।
कांग्रेस समेत सभी विपक्षी दलों का कहना था कि जब तक राज्यसभा से निलंबित सांसदों राज्यसभा में वापस नहीं लिया जाता तब तक हम राज्यसभा की कार्यवाही में भाग नहीं लेंगे। लगातार कांग्रेस अपनी हालत में सुधार करने के लिए प्रयास कर रही है वह यह नहीं चाहती कि अब आने वाला समय भी कांग्रेस के लिए प्रतिकूल साबित हो। इसीलिए सबसे पहले कांग्रेस में राहुल गांधी के विरोधियों को और स्वतंत्र आवाजों को शांत कराया गया है और उसके बाद उत्तर प्रदेश की कमान महासचिव प्रियंका गांधी को सौंप दी गई है।
आज प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय क्रिकेटर और भारत के प्रमुख लोगों से फिट इंडिया मूवमेंट को लेकर बातचीत की। जिसमें विराट कोहली भी शामिल हुए। राहुल गांधी ने विराट कोहली और प्रधानमंत्री मोदी की इस बातचीत को लेकर ट्विटर पर ट्वीट किया। जिसमें उन्होंने लिखा, “मोदी सरकार की प्राथमिकताएँ-
किसान और मज़दूरों से बात करके उनकी समस्याओं का समाधान निकालने के बजाए, PR में लगे हैं।”
इससे पहले भी राहुल गांधी ने पीएम मोदी का विरोध करते हुए ट्विटर पर लिखा था, “जो किसान धरती से सोना उगाता है, मोदी सरकार का घमंड उसे ख़ून के आँसू रुलाता है।
राज्यसभा में आज जिस तरह कृषि विधेयक के रूप में सरकार ने किसानों के ख़िलाफ़ मौत का फ़रमान निकाला, उससे लोकतंत्र शर्मिंदा है।”
इसके अलावा राहुल गांधी की बहन और कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा भी लगातार प्रधानमंत्री मोदी पर बेरोजगारी और किसानों को लेकर निशाना साधती रहीं हैं। कुछ दिनों पहले प्रियंका गांधी वाड्रा ने प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधते हुए उनके जन्मदिन पर एक ट्वीट किया था जिसमें उन्होंने लिखा था, “युवा की मांगें
- समय पर परीक्षा
- तय समय में रिजल्ट
- बगैर कोर्ट गए joining
- नौकरियां बढ़ें
- संविदा कानून रद्द हो
युवाओं ने महाहुंकार भरी है। अब भी सरकार आंख मूंदे बैठी रही और अपना रुख नहीं बदला तो युवा सरकार बदल देंगे
“राष्ट्रीय बेरोजगारी दिवस
NationalUnemploymentDay”