भारतीय फिल्म जगत में बहुत सारे ऐसे अभिनेता अभिनेत्रियां फिल्म निर्माता है जिन्होंने अपने क्षेत्र से हटकर राजनीति में कदम रखने का प्रयास किया और वे सफल भी हुए तथा कुछ असफल हुए। फिल्म सितारों में नाम आता है अमिताभ, बच्चन, राजेश खन्ना, जया बच्चन तथा जयाप्रदा, रेखा!… आइए जानते हैं इन सभी ने अपना राजनीतिक कैरियर किस तरह शुरू किया और इनकी राजनीतिक पारी किस तरह समाप्त हुई?
अमिताभ बच्चन
बॉलीवुड के शहंशाह कहे जाने वाले अमिताभ बच्चन ने 80 के दशक में भारतीय राजनीति में कदम रखा था। उस समय भारत की राजनीति में राजीव गांधी का बोलबाला हुआ करता था। गांधी परिवार के काफी करीबी होने के कारण उन्होंने उत्तर प्रदेश की इलाहाबाद लोकसभा सीट से चुनाव लड़ा था और भारी वोटों से विजय हासिल की थी। लेकिन कुछ समय पश्चात ही अमिताभ बच्चन का मन राजनीति से हटने लगा और उन्होंने राजनीति से अलविदा कह दिया।
जया बच्चन
बॉलीवुड के शहंशाह अमिताभ बच्चन की पत्नी जया बच्चन का नाम भी राजनीति से जुड़ता है। जया बच्चन जिस पार्टी से राजनीति करती है वह उत्तर प्रदेश की जानी-मानी पार्टी है हालांकि इस समय वह पार्टी पतन के रास्ते पर चल रही है। 2004 से लगातार वे समाजवादी पार्टी की ओर से राज्यसभा में सदस्य हैं और उन्हें भारत सरकार से पद्मश्री का अवार्ड भी मिल चुका है।
गोविंदा
बॉलीवुड के मशहूर अभिनेता गोविंदा ने भी राजनीति में कदम रखा था। गोविंदा जाने-माने अभिनेता है और 90 के दशक में उनकी फिल्में सुपर डुपर हिट रही थी। गोविंदा ने कांग्रेस जॉइन करने के पश्चात मुंबई लोकसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा था। भारी वोटों से विजय हासिल की थी। धीरे-धीरे उनकी दिलचस्पी राजनीति से खत्म होती चली गई और सन 2008 में उन्होंने भी राजनीति को सदैव के लिए अलविदा कह दिया।
धर्मेंद्र
80 के दशक के मशहूर अभिनेता धर्मेंद्र जिनकी फिल्मों को देखने के पश्चात यह पता चलता है कि उस समय क्या कला हुआ करती थी और किस तरह का अभिनय हुआ करता था? आज भी उनके किरदारों के दीवाने लोग भारत में पाए जाते हैं! धर्मेंद्र ने 2004 में बीकानेर से लोकसभा चुनाव लड़ा और भारी वोटों से विजय प्राप्त की। विजय प्राप्त करने के पश्चात धर्मेंद्र अपनी जनता से ज्यादा रूबरू ना हो सके और ना ही जनता के लिए कुछ काम कर सके, इसीलिए उन्होंने बीच में ही इस्तीफा दे दिया और फिल्म जगत की ओर बढ़ गए।
रेखा
मशहूर अभिनेत्री रेखा को कौन नहीं जानता है? उनके नृत्य का चर्चा तो विदेशों में हुआ करता है, वास्तव में उस समय की अभिनेत्रियों को आज भी इसीलिए याद किया जाता है क्योंकि भारतीय संस्कृति के साथ किस तरह से अभिनय को जोड़कर एक बड़ा गुलदस्ता उस समय की अभिनेत्रियों ने प्रस्तुत किया था? वैसा अब कोई नहीं कर पाता। साल 2012 में रेखा को राज्यसभा भेजा गया लेकिन उनका राजनीतिक इंटरेस्ट ना होना यह सब के सामने रहा,क्योंकि वह बहुत समय तक तो राज्यसभा में उपस्थिति नहीं होती थी। जिस कारण उनकी काफी आलोचना भी हुई।
राज बब्बर
भारतीय फिल्म जगत के मशहूर अभिनेता राज बब्बर की राजनीति के अद्भुत खिलाड़ी है। उत्तर प्रदेश कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष हैं तो वहीं राज्यसभा के सदस्य भी है। हम आपको बता दें राज बब्बर तीन बार लोकसभा और दो बार राज्यसभा के सदस्य रहे हैं।
जया प्रदा
साउथ की तेलुगू देसम पार्टी से अपनी राजनीति शुरू करने वाली भारतीय फिल्मों की मशहूर अभिनेत्री जयाप्रदा भी राजनीति की सदस्य रह चुकी है। उसके बाद उन्होंने समाजवादी पार्टी के टिकट पर रामपुर लोकसभा सीट से चुनाव लड़ा और दो बार जीत हासिल की। समाजवादी पार्टी के पतन और अमर सिंह तथा आजम खान के बीच में आए विवाद के कारण जब अमर सिंह ने समाजवादी पार्टी से किनारा कर लिया और भाजपा को सपोर्ट करने लगे, तब जयाप्रदा ने भी भाजपा का दामन थाम लिया और भारतीय जनता पार्टी से रामपुर लोकसभा सीट पर चुनाव लड़ा लेकिन विजय हासिल नहीं हुई।
हम आपको बता दें इन सभी अभिनेताओं तथा अभिनेत्रियां के अलावा हेमा मालिनी, परेश रावल, सनी देओल, रवि किशन, मनोज तिवारी यह सब वर्तमान में सक्रिय राजनीति में है। हालांकि विनोद खन्ना और सुनील दत्त ने भी अपने निधन से पहले तक अपना राजनीतिक वर्चस्व बनाए रखा था।