राजस्थान में कोरोना के चलते लॉकडाउन है। इसी बीच गहलोत सरकार ने आर्थिक समस्या से जूझ रहे 15 लाख 78 हजार निर्माण श्रमिकों को राहत दी है। सरकार के निर्देश पर श्रम विभाग ने पंजीकृत 15 लाख 78 हजार निर्माण श्रमिकों को एक-एक हजार रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की है। यह राशि सभी मजदूरों के खाते में तात्कालिक रूप से जमा करवा दी गई है। इस बात की जानकारी राजस्थान सरकार में श्रम राज्य मंत्री टीका राम जूली ने मीडिया को दी।
मंत्री टीका राम जूली ने बताया कि कोरोना महामारी के कारण प्रदेश में लॉकडाउन की स्तिथि बनी हुई है। ऐसे में गरीब श्रमिकों को आर्थिक परेशानियों से जूझना पड़ रहा है। जिसे देखते हुए राज्य सरकार के निर्देश पर सभी पंजीकृत निर्माण मजदूरों को एक-एक हजार रुपये की तात्कालिक सहायता राशि उनके खाते में जमा करवा दी गई है। यही नहीं इन श्रमिकों के बच्चों की छात्रवृत्ति हेतु आवेदन सीमा बढ़ाकर 15 मई कर दी गई है।
श्रम राज्य मंत्री ने जानकारी दी कि शैक्षणिक सत्र 2018-19 में परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले निर्माण श्रमिकों के बच्चों को श्रमिक शिक्षा व कौशल विकास योजना के तहत छात्रवृत्ति के लिए आवदेन करने की तिथि पहले 31 मार्च तक थी। जिसे बढ़ाकर अब 15 मई कर दिया गया है। मंत्री जी ने बताया कि बच्चों के हित को देखते हुए और छात्रवृत्ति का लाभ सुनिश्चित करने हेतु आवदेन सीमा बढ़ाई गई है। ऐसे में अब बच्चों को छात्रवृति हेतु आवेदन में परेशानी नहीं होगी।