कोरोनावायरस दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। केंद्र सरकार ने लॉकडाउन को समाप्त कर दिया है। लेकिन शिक्षण सस्थानों पर कोई निर्णय अभी तक नहीं हो पाया है। मानव संसाधन विकास मंत्रालय की ओर से सोमवार को एक बैठक हुई, जिसमें स्कूलों की खोलने पर विचार किया गया। इस बैठक में अगले 2 महीने तक शिक्षण संस्थानों को न खोलने की बात कही गयी। बैठक में 70% शिक्षण संस्थानों को क्वारंटाइन सेंटर बनाने का सुझाव भी दिया गया, जिसमें लगभग 200 केंद्रीय विश्वविद्यालय शामिल हैं।
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कहीं ऑनलाइन शिक्षा, तो कहीं विद्यालय खोले जाएं
भारत में लॉकडाउन के कारण कोई भी शिक्षण संस्थान नहीं खुल पा रहें हैं जिसके कारण अलग-अलग विद्यालय अपने छात्रों और छात्राओं को ऑनलाइन क्लासेज के माध्यम से शिक्षा प्रदान कर रहें हैं। मानव संसाधन मंत्रालय ने यह कहा है कि प्रत्येक राज्य अपने क्षेत्र में और अपने अंतर्गत आने वाले विद्यालयों के लिए ऑनलाइन क्लासेस की सुविधा प्राप्त कराए तो वहीं कुछ राज्यों ने कहा कि अभी भी कुछ गांव, देहात एवं कस्बे के क्षेत्र ऐसे हैं जहां पर प्रत्येक व्यक्ति के पास स्मार्टफोन उपलब्ध नहीं है। ऐसी अवस्था में विद्यालय खोले जाने आवश्यक हैं।
कुछ और सुझावों पर हुई मंत्रणा !
मानव संसाधन मंत्रालय की इस बैठक में विद्यार्थियों के लिए अलग से चैनल शुरू करने की बात भी कहीं गयी। जिससे विद्यार्थियों की शिक्षा में आगे कोई अवरोध न आये। एन.सी.ई.आर.टी विद्यार्थियों के लिए चैनल का प्रारम्भ करने पर विचार कर रही है। इस चर्चा में कई राज्यों ने कहा कि विद्यार्थियों के कोर्स को कम करना चाहिए। लेकिन कुछ राज्यों ने कहा कि कोर्स पहले से ही बहुत छोटा है अब इसको और कम करने में नुकसान रहेगा। कई राज्यों ने इसके अलावा अन्य गतिविधियों को कम करने की बात भी कही।
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