भारत और चीन के बीच लगातार गतिरोध जारी है। जैसा कि सभी जानते हैं कि चीन हमेशा विस्तारवाद की नीति पर चलता आया है। उसी नीति पर चलते हुए चीन, भारत के क्षेत्र में सड़क बनाना चाहता है। जिसके लिए चीन ने बीते दिनों सरहद के पास अपनी सेना में बढ़ोतरी की है। भारत ने भी चीन की इस हरकत का करारा जवाब दिया है। समाचार एजेंसी ANI के अनुसार, भारतीय सेना ने डीपीओ और डेपसॉन्ग मैदानी क्षेत्र में T-90 रेजीमेंट सहित सेना और टैंकों की बहुत भारी तैनाती की है।
सरकारी सूत्रों ने यह बताया कि टैंकों की मौजूदगी के चलते चीन के सैनिक कोई भी ऐसा कार्य करने से बचेंगे जो दोनों देशों के बीच विवाद का कारण बन सकता है। अब नॉर्दन लद्दाख में 15,000 से ज्यादा जवान और कुछ टैंक रेजीमेंट भी तैनात कर दियें हैं।
नवभारत टाइम्स के अनुसार भारत चीन सीमा क्षेत्र में चीनियों के प्रमुख इरादों में से एक अपने TWD बटालियन मुख्यालय से DBO सेक्टर के सामने काराकोरम पास क्षेत्र तक एक सड़क का निर्माण करना और वहां की बटालियन को जोड़ना है। सूत्रों ने कहा कि कनेक्टिविटी योजना को पहले भी नाकाम कर दिया है। कुछ दिनों पहले पीपी -7 और पीपी -8 के पास एक छोटा नाला पड़ता है। जिस पर भी चीन ने एक पुल बना लिया था जिसे भारतीय सेना ने कुछ समय पहले ही तोड़ा है।
15 और 16 जून की रात को लद्दाख के गलवान घाटी में भारतीय सैनिकों और चीनी सैनिकों के बीच एक मुठभेड़ हुई थी। जिसमें भारतीय सैनिकों ने अद्भुत पराक्रम का परिचय देते हुए चीनी सैनिकों को धूल चटा दी थी और इस मुठभेड़ में भारतीय सेना के 20 जवान भी शहीद हो गए थे।