हैदराबाद स्थित Centre for Cellular & Molecular Biology (CCMB) के वैज्ञानिकों ने भारत में संक्रमित लोगों में मौजूद कोरोना वायरस में एक खास लक्षण की पहचान की है। यह दक्षिणी राज्यों तमिलनाडु और तेलंगाना में ज्यादातर पाया गया है। सीसीएमबी ने अपने ट्विटर अकाउंट पर ट्वीट करके ये जानकारी दी है और साथ ही ये भी कहा कि हमारे पास यह कहने के लिये डेटा नहीं है।
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इनके अनुसार भारत में SARS COV-2 के जीनोम विश्लेषण पर एक नया तथ्य सामने आया है। नतीजों से यह यह प्रदर्शित हुआ कि विषाणु का एक अनूठा समूह भी भारत में मौजूद है। इसे क्लेड ए3आई नाम दिया गया है। इसमें कहा गया है कि यह समूह मार्च 2020 में विषाणु से उत्पन्न हुआ और देश भर में फैला। इसमें भारत से लिये गये SARS-COV 2 जीनोम के सभी नमूनों के 41% और सार्वजनिक किये गये वैश्विक जीनोम का साढ़े 3 प्रतिशत है। इस विषाणु पर किये गये शोध से यह पता चला है कि विषाणु के फरवरी में साझा पूर्वज थे।
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कोविड-19 के खिलाफ CCMB की मुहिम में अब एक और आयाम जुड़ गया है। कोविड-19 के परीक्षण के लिए सीसीएमबी अब हैदराबाद विश्वविद्यालय के साथ मिलकर काम कर रहा है। दोनों संस्थानों की इस साझा पहल के तहत सीसीएमबी हैदराबाद विश्वविद्यालय के वालंटियर्स को कोविड-19 के परीक्षण के लिए प्रशिक्षण दे रहा है। CCMB, हैदराबाद कोविड-19 के विभिन्न आयामों पर काम कर रही है और इन आयामों में कोविड के परीक्षण के अलावा दवाओं की रिपर्पजिंग वायरस कल्चर की जीनोम सीक्वेंसिंग और वैक्सीन का विकास शामिल है|