चीन ने एलएसी पर एक बार फिर अपनी चालबाजी दिखानी शुरू कर दी है। ऐसे में भारतीय वायुसेना ने चीन को करारा जवाब देने के लिए लद्दाख में लड़ाकू विमानों की तैनाती कर दी है। हाल ही में भारतीय क्षेत्र के करीब चीनी सैन्य हेलिकॉप्टर उड़ान भरते दिखाई दिए थे और वो भारतीय वायु क्षेत्र का उल्लंघन कर सकते थे। सरकार के शीर्ष सूत्रों ने न्यूज एजेंसी ANI को बताया कि जैसे ही चीनी हेलिकॉप्टरों की आवाजाही शुरू हुई, भारतीय लड़ाकू विमानों को लद्दाख सेक्टर में सीमावर्ती क्षेत्रों में ले जाया गया। भारतीय वायु सेना के लड़ाकू विमान ने नजदीकी बेसकैंप से उड़ान भरी थी। फिलहाल, चीनी हेलिकॉप्टरों ने भारतीय वायु क्षेत्र का उल्लंघन नहीं किया है। यह घटना पिछले हफ्ते की है, जब भारतीय और चीनी सैनिक एक-दूसरे के साथ उलझ गए थे। इसके बाद 150 से अधिक चीनी सेना के सैनिकों ने भारतीय क्षेत्र में घुसपैठ की कोशिश की थी। सूत्रों ने कहा कि यह पहली बार है जब कई सालों में भारत ने लड़ाकू विमानों को तैनात करके वायु क्षेत्रों का उल्लंघन करने के चीनी प्रयासों का जवाब दिया है।
माना जाता है कि चीन के हाल ही में बदले इस तेवर का कारण पाकिस्तान का समर्थन करने के साथ-साथ कोरोना वायरस संक्रमण को लेकर लग रहे आरोपों से दुनिया का ध्यान भटकाने की है। दरअसल, अमेरिका समेत ज्यादा देश इस महामारी के लिए चीन को दोषी ठहरा रहे हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का कहना है कि अगर चीन समय रहते, दुनिया को कोरोना वायरस के संक्रमण की जानकारी दे देता, तो स्थिति इतनी खराब नहीं होती। कोरोना संकट के समय चीन भारत की मुश्किले बढ़ा रहा है। ऐसे में भारतीय वायुसेना चीन की घुसपैठ का जवाब देने के लिए हर समय तैयार रहती है। सरकार द्वारा दी गयी जानकारी के अनुसार पिछले हफ्ते ही चीनी सैनिक भारतीय सेना से उलझ गए थे। इसके बाद 150 से अधिक चीनी सेना के सैनिकों ने भारतीय क्षेत्र में घुसपैठ की कोशिश की थी। ऐसा पहली बार नहीं हुआ कि जब चीन की सेना ने भारतीय सेना के साथ एलएसी पर भिड़ने की कोशिश की हो। सूत्रों के अनुसार ऐसा काफी लंबे समय बाद हुआ है, जब भारत ने लड़ाकू विमानों को तैनात करके वायु क्षेत्रों का उल्लंघन करने के चीनी प्रयासों का जवाब दिया है।