मुश्किल दौर में भी जरूरतमंदों को 1 रुपए में इडली खिला रहीं 82 साल की ‘पातिमा’

जब कमलाथल से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के बाद शुरू में स्थिति थोड़ी मुश्किल हुई, लेकिन मैं पूरी कोशिश करूंगी कि एक रुपए में ही इडली देती रहूं। मैं अपने द्वारा बनाई इडली की कीमत नहीं बढ़ाऊंगी।

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82 साल की कमलाथल पिछले साल से 1 रुपए प्रति पीस की कीमत से इडली बेच रही हैं। कमलाथल को इडली पाती या पातिमा के नाम से भी जाना जाता है। आज जब देश में लगे लॉकडाउन के कारण जहां एक ओर सभी चीजों के दाम आसमान छू रहे हैं, तो वहीं लोगों की मदद के लिए इडली पाती ने इडली को 1 रुपए में ही बेचने का फैसला किया है।

इस बारे में जब कमलाथल से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के बाद शुरू में स्थिति थोड़ी मुश्किल हुई, लेकिन मैं पूरी कोशिश करूंगी कि एक रुपए में ही इडली देती रहूं। मैं इडली की कीमत नहीं बढ़ाऊंगी। मौजूदा हालात के चलते ज्यादा लोग यहां आ रहे हैं। जिनमें बहुत से प्रवासी मजदूर, जो लॉकडाउन की वजह से यहां फंसे हुए हैं। इस दौरान जो लोग मेरी मदद कर रहे हैं और जरूरी चीजें मुहैया करा रहे हैं, उसी का इस्तेमाल कर इडली बनाना रही हूं।

एक रुपए की कीमत से इडली बेचने के उनके फैसले के बाद कई लोग उनकी मदद के लिए आगे आ रहे हैं। इसी क्रम में भरतियार विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ पी कालीराज ने उन्हें भोजन और किराने की किट दान की है। इसके अलावा स्काउट्स एंड गाइड्स के सदस्यों ने भी आवश्यक सामान मुहैया कराया है। वहीं, डीएमके चीफ एम के स्टालिन ने उन्हें बुलाकर उनकी पहल और लोगों के लिए कर रहे इस नेक काम के बारे में भी जानकारी ली।

पिछले साल 1 रुपए में इडली बेचने की पहल करने के बाद से ही कमलाथल चर्चाओं में बनीं हुई थी। उन्होंने इसकी शुरूआत चूल्हे के साथ की थी। कुछ समय पश्चात उनका एक वीडियो इंटरनेट पर वायरल हो गया इसके बाद सरकार की तरफ से कमलाथल को गैस कनेक्शन की सुविधा भी दी गई थी। इसके बाद से ही वह गैस पर अब इस मुहिम को जारी रखी हुई हैं।

Image Source: Bhaskar

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