आज ही दिन है जिसे कांग्रेस के पतन का पहला पल माना जा सकता है। आज ही के दिन भारतीय जनता पार्टी ने नरेंद्र मोदी को भारतीय जनता पार्टी का प्रधानमंत्री उम्मीदवार घोषित किया था। और उसके बाद 2014 में कांग्रेस पार्टी को सत्ता से शून्य कर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी भारत के पहली बार प्रधानमंत्री बने। 2014 लोकसभा चुनाव से कुछ महीने पहले (13 सितंबर, 2013) भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने नई दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की थी। उनके साथ गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी भी थे। आपको बता दें कि जब भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने यह घोषणा की थी कि गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री पद के लिए बीजेपी के उम्मीदवार होंगे तब तभी वामपंथी पत्रकारों ने नरेंद्र मोदी पर व्यक्तिगत रूप से हमले किए थे। कुछ लोगों ने मौत का सौदागर बताया था कुछ लोगों ने उनकी काफी आलोचना की थी।
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— saliltripathi (@saliltripathi) September 14, 2013
जब राजनाथ सिंह प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे थे तो उस समय लोगों को यह लगता था कि अरुण जेटली, लालकृष्ण आडवाणी को प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के रूप में घोषित किया जाएगा। लेकिन घोषणा हुई तो नरेंद्र मोदी के नाम की। 2013 के समय में ही नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बनाने की चर्चाएं बहुत तेज हो चुकी थी। इसी से नाराज तत्कालीन बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बीजेपी से अपना पुराना गठबंधन तोड़ दिया था। कुछ समय बाद तक नीतीश कुमार को प्रधानमंत्री मोदी के समक्ष विपक्ष का नेता माना जा रहा था, लेकिन बाद में नीतीश कुमार ने अपनी गलती को सुधारते हुए दोबारा बीजेपी के साथ मिलकर सरकार बना ली। उन्होंने पीएम मोदी के लिए अपनी ‘नापसंदगी’ को काफी हद तक स्पष्ट कर दिया था। नीतीश कुमार ने 2010 में मोदी सहित कई भाजपा नेताओं के लिए एक पूर्व निर्धारित रात के भोजन के कार्यक्रम को भी रद्द कर दिया था। वहीं दो साल पहले 2008 में, उन्होंने नरेंद्र मोदी की अगुवाई में गुजरात सरकार द्वारा दिए गए 5 करोड़ रुपए को भी लौटा दिया था जो बिहार को बाढ़ राहत के लिए मिला था। उन्होंने इसे ब्याज के साथ वापस किया था।